स्कैनर एक इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस है जो कागज पर मौजूद छवियों, टेक्स्ट, या ग्राफिक्स को डिजिटल फॉर्मेट में परिवर्तित करता है। यह डिजिटल डेटा को कंप्यूटर पर स्टोर, एडिट, या शेयर करने के लिए उपयोगी होता है। स्कैनर का उपयोग मुख्य रूप से दस्तावेज़ों, फोटोग्राफ्स, और अन्य ग्राफिकल सामग्री को डिजिटाइज़ करने के लिए किया जाता है।
स्कैनर के प्रकार :
1. फ्लैटबेड
स्कैनर: यह सबसे आम प्रकार का स्कैनर है। इसमें एक सपाट ग्लास सतह
होती है जिस पर दस्तावेज़ या छवि को रखा जाता है। यह किताबों, पत्रिकाओं, और मोटे दस्तावेज़ों को
स्कैन करने के लिए उपयुक्त है।
2. शीटफेड
स्कैनर: यह स्कैनर एक बार में एक पेज को स्कैन करता है। यह तेज़ और
कॉम्पैक्ट होता है, लेकिन मोटे दस्तावेज़ों
के लिए उपयुक्त नहीं है।
3. हैंडहेल्ड
स्कैनर: यह एक पोर्टेबल डिवाइस है जिसे हाथ से पकड़कर दस्तावेज़ या
छवि पर घुमाया जाता है। यह छोटे दस्तावेज़ों के लिए उपयुक्त है।
4. ड्रम
स्कैनर: यह उच्च गुणवत्ता वाले स्कैन के लिए उपयोग किया जाता है।
इसमें दस्तावेज़ को एक ड्रम पर लगाया जाता है और फिर स्कैन किया जाता है। यह
प्रोफेशनल फोटोग्राफी और प्रिंटिंग में उपयोगी है।
5. फिल्म
स्कैनर: यह स्कैनर विशेष रूप से फिल्म नेगेटिव्स और स्लाइड्स को
स्कैन करने के लिए डिज़ाइन किया गया है।
स्कैनर
के उपयोग :
- दस्तावेज़ डिजिटाइज़ेशन: पेपर दस्तावेज़ों को डिजिटल फॉर्मेट में बदलना।
- फोटोग्राफ स्कैनिंग: पुरानी तस्वीरों को डिजिटल रूप में सहेजना।
- ऑप्टिकल कैरेक्टर रिकग्निशन (OCR): स्कैन किए गए टेक्स्ट को एडिटेबल टेक्स्ट में बदलना।
- ग्राफिक डिजाइन: उच्च गुणवत्ता वाली छवियों को स्कैन कर
1.
स्कैनर की कार्यप्रणाली :-
·
स्कैनर प्रकाश (Light) और सेंसर (Sensor) की मदद से काम करता है।
यह दस्तावेज़ या छवि पर प्रकाश डालता है और परावर्तित प्रकाश को सेंसर के जरिए
पकड़ता है। सेंसर (जैसे CCD
या CIS) प्रकाश को डिजिटल सिग्नल
में बदलता है, जिसे कंप्यूटर पर इमेज
फ़ाइल (JPEG, PNG, PDF आदि) के रूप में सेव किया
जाता है।
2. स्कैनर
के मुख्य तकनीकी पैरामीटर्स :-
रिज़ॉल्यूशन (DPI) :-
- DPI (Dots Per Inch) स्कैन की गुणवत्ता को दर्शाता है। जितना अधिक DPI (जैसे 1200 DPI), उतनी ही स्पष्ट और विस्तृत इमेज।
- सामान्य उपयोग के लिए 300600 DPI पर्याप्त है, जबकि प्रोफेशनल फोटोग्राफी या प्रिंटिंग के लिए 2400+ DPI की आवश्यकता होती है।
रंग गहराई (Color Depth) :-
·
यह स्कैनर द्वारा कैप्चर
किए जाने वाले रंगों की संख्या को दर्शाता है। उदाहरण: 24bit (16.7 मिलियन रंग), 48bit (उच्च गुणवत्ता)।
स्कैनिंग स्पीड :-
·
पेज प्रति मिनट (PPM) में मापी जाती है। शीटफेड
स्कैनर आमतौर पर तेज़ होते हैं (2030 PPM)।
3. स्कैनर
सॉफ्टवेयर और फीचर्स :-
OCR (Optical Character
Recognition)
·
टेक्स्ट को स्कैन करके एडिटेबल टेक्स्ट (Word, PDF) में बदलता है। उदाहरण: Adobe Acrobat, ABBYY Fine Reader।
ऑटोक्रॉप
और स्ट्रेटनिंग:
·
स्कैन की गई इमेज को ऑटोमैटिक सीधा करना या अनावश्यक किनारों को काटना।
मल्टीपेज
स्कैनिंग :-
·
कई पेजों को एक ही PDF फ़ाइल में स्कैन करना।
क्लाउड इंटीग्रेशन :-
·
सीधे Google Drive, Dropbox, या ईमेल पर स्कैन भेजना।
4. स्कैनर
के उन्नत प्रकार और उपयोग
3D स्कैनर :-
- वस्तुओं को 3D मॉडल में बदलने के लिए उपयोग किया जाता है। उदाहरण: मेडिकल इमेजिंग, आर्किटेक्चर।
बारकोड स्कैनर :-
·
स्टोर, वेयरहाउसिंग, या लाइब्रेरी में बारकोड
पढ़ने के लिए।
बायोमेट्रिक
स्कैनर :-
·
फिंगरप्रिंट या आईरिस स्कैन कर सुरक्षा के लिए उपयोग होता है।
पोर्टेबल
स्कैनर :-
·
मोबाइल स्कैनर जो स्मार्टफोन के साथ काम करते हैं, जैसे Cam Scanner ऐप।
5. स्कैनर
के लोकप्रिय ब्रांड :-
- HP, Epson, Canon: फ्लैटबेड और शीटफेड स्कैनर के लिए जाने जाते हैं।
- Fujitsu: हाईस्पीड डॉक्यूमेंट स्कैनर।
- Brother: मल्टीफ़ंक्शन (प्रिंटर+स्कैनर) डिवाइस।
- Plustek, Xerox: OCR और विशेष उपयोग वाले स्कैनर।
6. स्कैनर
के सामान्य समस्याएं और समाधान :-
- धुंधली इमेज: ग्लास सतह को साफ करें या DPI बढ़ाएँ।
- कनेक्शन एरर: केबल/ड्राइवर चेक करें या स्कैनर को रीस्टार्ट करें।
- OCR में गलतियाँ: हाईरिज़ॉल्यूशन पर स्कैन करें या सॉफ्टवेयर अपडेट करें
स्कैनर आधुनिक डिजिटल
दुनिया का एक अहम हिस्सा है, जो पेपरलेस कार्यप्रणाली और डिजिटल संग्रहण को
सुविधाजनक बनाता है। इसकी तकनीक लगातार विकसित हो रही है, जिससे भविष्य में और भी
उन्नत उपयोग संभव होंगे।
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